खेल और न्यायपालिका : सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय व खेल प्रशासन में समावेशिता
1. सारांश एवं विश्लेषण (Summary & Analysis)
संदर्भ + पृष्ठभूमि (Context + Background)
- मामला: Akhil Indian Football Federation (AIFF) vs Rahul Mehra, 2025
- मुख्य अवलोकन: सर्वोच्च न्यायालय ने कहा कि खेल राष्ट्रीय जीवन का हिस्सा है, और इसे जाति, धर्म, भाषा, लिंग या आर्थिक स्थिति की परवाह किए बिना सभी वर्गों के लिए समान रूप से उपलब्ध होना चाहिए।
- AIFF की पृष्ठभूमि: 1937 में गठन, 1950 के दशक में FIFA से संबद्धता, लेकिन समय के साथ राजनीतिक हस्तक्षेप और संस्थागत अक्षमता से कमजोर।
मुद्दे / चुनौतियाँ (Issues / Challenges)
- संरचनात्मक असमानता: खेल अवसर अक्सर शहरी व धनी वर्गों तक सीमित।
- संसाधनों की कमी: ग्रामीण क्षेत्रों में स्टेडियम, प्रशिक्षक और उपकरण का अभाव।
- प्रशासनिक अक्षमता: खेल संगठनों में पारदर्शिता और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं का अभाव।
- आर्थिक अवरोध: प्रशिक्षण और खेल उपकरणों की उच्च लागत।
- भेदभाव: जाति, धर्म और लिंग आधारित बाधाएं।
राष्ट्रीय + अंतर्राष्ट्रीय प्रभाव (National + International Impact)
राष्ट्रीय प्रभाव:
- सामाजिक एकता: खेल बंधुत्व और सहयोग की भावना को मजबूत करता है।
- युवाओं का सशक्तिकरण: ग्रामीण और वंचित वर्गों को अवसर मिलेंगे तो राष्ट्रीय प्रतिभा उभर सकती है।
- प्रशासनिक सुधार: बेहतर गवर्नेंस से भ्रष्टाचार और राजनीति का दखल घटेगा।
अंतर्राष्ट्रीय प्रभाव:
- भारतीय खेल छवि में सुधार → यदि समावेशिता और पारदर्शिता बढ़ती है तो भारत की वैश्विक खेल कूटनीति मजबूत होगी।
- ओलंपिक व FIFA स्तर पर प्रतिनिधित्व: निष्पक्ष चयन और मजबूत संस्थान भारत को वैश्विक खेल मानचित्र पर आगे बढ़ा सकते हैं।
आगे का रास्ता / समाधान (Way Forward / Solutions)
- खेल को सामुदायिक संसाधन मानना → केंद्र व राज्य सरकारें खेल सुविधाओं को सार्वजनिक संसाधन के रूप में उपलब्ध कराएँ।
- समावेशी प्रशासन → खेल संगठनों में विविध पृष्ठभूमि के योग्य व्यक्तियों को अवसर मिले।
- आय का पुनर्वितरण → खेल आयोजनों व मीडिया अधिकारों की आय का उपयोग ग्रामीण क्षेत्रों में खेल ढांचा विकसित करने में हो।
- सस्ती व सुलभ सुविधाएं → हाशिये पर रहने वाले समुदायों के लिए उपकरण व प्रशिक्षण सुलभ बनाना।
- जागरूकता अभियान → समाज में खेल के महत्व और अवसरों पर outreach programs।
- संस्थागत दक्षता → NSFs में पारदर्शिता, व्यावसायिकता और विशेषज्ञता को कानूनी ढांचे में शामिल करना।
Extra Data / Reports / Case Studies
- UNESCO Report (2021): खेल समावेशी विकास और SDGs (खासकर SDG 3 और SDG 10) को आगे बढ़ाने का माध्यम है।
- Khelo India Scheme: 2018 से अब तक लगभग 12,000 एथलीटों को स्कॉलरशिप।
- FIFA Suspension of AIFF (2022): दिखाता है कि प्रशासनिक अक्षमता कैसे अंतरराष्ट्रीय छवि को नुकसान पहुँचा सकती है।
2. यूपीएससी प्रासंगिकता (UPSC Relevance)
- GS Paper II (Governance, Polity, IR): संस्थागत पारदर्शिता, न्यायपालिका की भूमिका।
- GS Paper III (Sports, Economy, Infrastructure): खेल नीति, खेल प्रशासन, आर्थिक असमानता।
- GS Paper IV (Ethics, Integrity, Aptitude): खेल और बंधुत्व, समानता, न्याय।
- Essay Paper: “Sports as a unifying force in diverse societies” या “Institutional reforms for inclusive governance in sports”।
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